हिंदू विवाह और मानसिक रोग

आखिरी अपडेट Jul 12, 2022

कानून कहता है कि मानसिक रोग वाले व्यक्ति में आमतौर पर वैध कानूनी विवाह करने की क्षमता नहीं होती है। जो व्यक्ति शादी करने की योजना बना रहा है, उसे वैध सहमति देने के लिए सक्षम होना चाहिए। यदि आप निम्नलिखित कारणों से सहमति देने में अक्षम हैं:

  • दिमाग की अस्वस्थता या;
  • मानसिक विकार के कारण जो आपको ‘विवाह और बच्चे पैदा करने के लिए अयोग्य’ बनाता है या;
  • यदि आपको ‘पागलपन का दौरा लगातार पड़ता है’, तो आपका विवाह वैध नहीं होगा।
कानून का प्रावधान चाहे सभी प्रकार के मानसिक रोगों को सम्मिलित ना कर सकता हो, लेकिन ऐसे भी कोई दिशानिर्देश नहीं हैं कि किस प्रकार के रोग या रोग का स्तर आपको विवाह के लिए अनुपयुक्त बनाती हैं।

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हिंदू विवाह कानून के अंतर्गत शून्यकरणीय विवाह

हिंदू विवाह अधिनियम के तहत, कुछ परिस्थितियां विवाह को शून्यकरणीय बनाती हैं।यदि विवाह की शर्तें पूरी नहीं की गई हैं।

कानूनी हिंदू विवाह

किसी शादी को हिंदू विवाह के रूप में कानूनी मान्यता देने के लिए, निम्नलिखित शर्तें जरूर पूरी की जानी चाहिए|

अमान्य/निरस्त हिंदू विवाह

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हिंदू धर्म से धर्म परिवर्तन

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रिश्ते की स्थिति और हिंदू विवाह कानून

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